जयपुर के नीरजा मोदी स्कूल में चौथी कक्षा की छात्रा अमायरा की मौत मामले में सीबीएसई ने बड़ा एक्शन लिया है। छात्रा की मौत के करीब 2 महीने बाद केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (CBSE) ने सख्त कार्रवाई करते हुए जयपुर के नीरजा मोदी स्कूल की मान्यता तत्काल प्रभाव से सीनियर सेकेंडरी स्तर तक रद्द की है। CBSE की जांच में बच्चों की सुरक्षा के नियमों और मान्यता के उप-नियमों का गंभीर उल्लंघन पाया गया है. नीरजा मोदी स्कूल जयपुर का जाना माना स्कूल है और यहां की फीस काफी महंगी मानी जाती है।
नियमों का खुला उल्लंघन मिला
स्कूल में छात्रा अमायरा की मौत पर सीबीएसई की जांच रिपोर्ट में खुलासा हुआ कि स्कूल की ऊपरी मंजिलों पर सुरक्षा जाली या गार्ड नहीं लगाए गए थे, जिससे बच्चों की सुरक्षा खतरे में थी। इसके अलावा अन्य नियमों के उल्लंघन भी सामने आए। बोर्ड ने इससे पहले 20 नवंबर को स्कूल को नोटिस जारी किया था और एक महीने के भीतर जवाब देने को कहा था, लेकिन जांच में मिली खामियों के आधार पर सीबीएसई ने स्कूल की मान्यता रद्द करने का निर्णय लिया।
सीनियर सेकेंडरी स्तर तक मान्यता रद्द
सीबीएसई ने नीरजा मोदी स्कूल की मान्यता सीनियर सेकेंडरी स्तर तक रद्द की है। कक्षा 10वीं और 12वीं के छात्रों को 2025-26 सत्र के लिए उसी स्कूल से परीक्षा देने की अनुमति दी गई है, जबकि कक्षा 9वीं और 11वीं के छात्रों को 31 मार्च 2026 तक निकटवर्ती सीबीएसई स्कूलों में स्थानांतरित करना होगा। कक्षा 9वीं और 11वीं में कोई नया प्रवेश या प्रोन्नति की अनुमति नहीं होगी।
स्कूल एक शैक्षणिक वर्ष के बाद 2027-28 सत्र से माध्यमिक स्तर तक बहाली के लिए आवेदन कर सकता है, जो पूर्ण अनुपालन के अधीन होगा और सीनियर सेकेंडरी संबद्धता दो अतिरिक्त शैक्षणिक वर्षों के बाद ही मांगी जा सकेगी। कक्षा 1 से 8 तक के छात्रों का भविष्य राजस्थान राज्य शिक्षा विभाग तय करेगा।
स्कूल ने दो टीचर को नौकरी से निकाला था
छात्रा अमायरा की 01 नवंबर को जयपुर के नीरजा मोदी स्कूल में चौथी मंजिल से छलांग लगाने से मौत हुई थी। इस केस में कुछ दिन पहले ही स्कूल प्रशासन ने दो टीचर को नौकरी से निकाल दिया था। स्कूल ने कक्षा अध्यापिका पुनीता शर्मा और गणित की अध्यापिका रचना को स्कूल से निकाला था साथ ही, राजस्थान के शिक्षक विभाग ने भी 17 दिसंबर को स्कूल को नोटिस दिया था। इस नोटिस का जवाब स्कूल को 24 दिसंबर तक देना था नोटिस में स्कूल की कई कमियां बताई गई थी इनमें से सबसे बड़ी बात ये थी कि घटना के बाद वहां से धब्बों को मिटाया गया और किसी भी मंजिल पर उपयुक्त सुरक्षा मानक नहीं थे.

